दिल्ली हाई कोर्ट (Delhi High Court) ने शराब की निजी दुकानों (Private Liquor Shops) के लाइसेंस को 30 सितंबर से आगे ना बढ़ाने के दिल्ली सरकार के फैसले में हस्तक्षेप करने से मना कर दिया है।
जानकारी के मुताबिक, हाई कोर्ट ने कहा कि सरकार के पास नई एक्साइज पॉलिसी (New Excise Policy) बनाने का पूरा अधिकार और शक्ति है। इसमें कोर्ट दखलंदाज़ी नहीं करेगा। दरअसल आपको बता दें कि दिल्ली सरकार की नई आबकारी नीति के खिलाफ कई शिकायतें कोर्ट के समक्ष लंबित की जा चुकी है।
सूत्रों के मुताबिक, मुख्य न्यायाधीश डीएन पटेल और न्यायमूर्ति ज्योति सिंह की खंडपीठ ने दिल्ली में एल-7 लाइसेंसों को आगे ना बढ़ाने के दिल्ली सरकार के इस फैसले को चुनौती देने वाली अर्जी को खारिज करते हुए कहा है कि इस बात का खास ध्यान रखा जाना चाहिए कि परिवर्तन अपरिहार्य है।
इसके अलावा उन्होंने आगे कहा कि आबकारी नीति इस नियम का अपवाद नहीं है. नीतिगत मामलों में हमेशा नए प्रयोगों की इजाज़त दी जाती है। प्रथम दृष्टया हम नई नीति के नतीजे और प्रभाव का पूर्व-आकलन नहीं करना चाहते हैं।
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