
आज कल आपने देखा होगा कि वेबसाइट, OTT प्लेटफॉर्म और निजी टीवी चैनलों पर कई विज्ञापन दिखाए जातें है। इनमे से एक विज्ञापन ऑनलाइन सट्टेबाज़ी का भी दिखाया जाता है जो कि लोगों को गलत चीज़े सीखने में प्रभावित करता है और अब इसी को देखते हुए सरकार ने बड़ा फैसला लिया है। जानिए पूरी खबर
बता दें कि सोमवार सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की ओर से आदेश जारी किये गया है जहां अब कई समाचार वेबसाइट, ओटीटी प्लेटफॉर्म और निजी टीवी चैनल पर दिखाए जा रहे ऑनलाइन सट्टा केंद्रों का विज्ञापन दिखाना अब बंद कर दें। इसमें कहा गया कि निजी टीवी चैनलों को सख्त सलाह दी जाती है कि वे ऑनलाइन सट्टा केंद्रों का विज्ञापन दिखाने से दूर रहें। साथ ही सरकार ने कहा कि अगर इसको तब भी प्रोत्साहित किया तो दिशा-निर्देश के उल्लंघन पर उचित कानून के तहत दंडनीय कार्रवाई की जा सकती है।
इसी के साथ काउंसेलिंग में कहा गया है, ‘‘ऑनलाइन विदेशी सट्टेबाजी प्लेटफॉर्म अब डिजिटल मीडिया पर बेटिंग प्लेटफॉर्म का विज्ञापन करने के लिए समाचार वेबसाइट को एक छद्म (Surrogate) उत्पाद के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं। ऐसे मामलों में, मंत्रालय ने पाया है कि छद्म समाचार वेबसाइट के लोगों सट्टेबाजी के प्लेटफॉर्म के समान हैं।”
रिपोर्ट्स में बताया गया कि न तो सट्टेबाजी के प्लेटफॉर्म और न ही समाचार वेबसाइट भारत में किसी भी अथॉरिटी से एक लीगल पंजीकृत नहीं हैं और ऐसी वेबसाइट समाचार की आड़ में छद्म विज्ञापन के रूप में सट्टेबाजी और जुए को बढ़ावा मिल रहा है।
भारत में अवैध
सरकार ने बताया है कि कंज्यूमर प्रोटेक्शन एक्ट 2019 के तहत भ्रामक विज्ञापनों और इनके समर्थन के रोकथाम के लिए दिशानिर्देशों के पैराग्राफ 9 के अनुसार, सट्टेबाजी और जुआ भारत में अवैध है, जिसका साफ़ मानना है कि इसलिए ऑनलाइन ऑफशोर सट्टेबाजी और जुआ प्लेटफार्मों के विज्ञापन भी दिखाना गलत हैं।
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