ट्रेन में छूट गया था बच्चे का खिलौना, फिर सेना के जवान ने इस तरह लौटाई खुशी
बच्चा सफर के दौरान ट्रेन में अपने एक खिलौने के साथ खेल रहा था। जैसे ही ट्रेन के किशनगंज स्टेशन पर पहुंची तो बच्चे का पर परिवार उतर गया...

बच्चों को अपने खिलौनों से काफी ज्यादा प्यार होता है और बच्चे किसी भी कीमत पर अपने खिलौनों को बिलकुल भी खोना नहीं चाहते हैं। अगर बच्चों का कोई खिलौना गुम हो जाता है, तो वो बहुत ज्यादा मायूस हो जाते हैं। ऐसा लगता है कि कोई उनका अपना उनसे अलग हो गया है। लेकिन अगर बच्चो का खोया हुआ खिलौना वापस मिल जाए तो उनकी खुशी बहुत ज्यादा बढ़ जाती है।
ऐसा ही एक वाकया करीब डेढ़ साल के एक बच्चे अदनान के साथ हुआ है। दरअसल, तीन जनवरी वाले दिन सिंकदराबाद-अगरतला एक्सप्रेस ट्रेन में बच्चा अदनान अपने माता-पिता के साथ ट्फट्रेन में सफर कर रहा था। बच्चा सफर के दौरान ट्रेन में अपने एक खिलौने के साथ खेल रहा था। जैसे ही ट्रेन के किशनगंज स्टेशन पर पहुंची तो बच्चे का पर परिवार उतर गया, लेकिन बच्चे का खिलौना ट्रेन में ही रह गया। लेकिन ट्रेन के उसी कोच में सफर कर रहे विभूतिभूषण पटनायक नाम के भारतीय सेना में हवलदार ने जब ये देखा कि बच्चे का खिलौना रह गया है, तो उन्होंने तुरंत रेल हेल्पलाइन 139 पर कॉल किया।
और फिर इसके बाद रेलवे की एक टीम विभूतिभूषण पटनायक के पास पहुंची। सेना के जवान ने बच्चे का नाम और बच्चे के परिवार की सीट के बारे में जानकारी दी और फिर खिलौने को रेलवे टीम को सौंप दिया। इसके बाद रेलवे टीम ने बच्चे के परिवार के घर का पता लगाने के लिए जांच में जुटी और सिकंदराबाद के टिकट आरक्षण केंद्र से इस परिवार का पता और कुछ अन्य जानकारी जुटाई गई। बहुत खोजबीन करने के बाद रेलवे की टीम को बच्चे के घर का पता मिल गया।
इसके बाद रेलवे की टीम ने अलुआबारी स्टेशन से लगभग 20 किमी दूर स्थित बच्चे के घर पर उसका खिलौना वापस पहुंचा दिया। खिलौना वापस मिलने पर बच्चे के पिता राजा बहुत ज्यादा भावुक हो गए और उन्होंने विभूतिभूषण पटनायक को धन्यवाद दिया। रेल मंत्री और साथ ही रेलवे के प्रति आभार प्रकट किया। राजा ने कहा कि उन्हें ये लगा कि शायद खिलौना ढूंढने पर कोई भी ध्यान नहीं देगा, इसलिए राजा ने इस संबंध में किसी भी तरह की शिकायत दर्ज नहीं कराई।
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